Constipation in Hindi: कब्ज के कारण रोगी को बार-बार दस्त जाना पड़ता है। पेट साफ ना होने के कारण पूरे दिन आलस्य बना रहता है। किसी काम में मन नहीं लगता। कब्ज की परेशानी के कारण मल त्यागने के लिए ज्यादा जोर लगाना पड़ता है, घण्टों बैठे रहना पड़ता है। इतना ही नहीं व्यक्ति को बहुत सोच-समझकर खाना-पीना पड़ता है। क्या आपके साथ भी ऐसा हो रहा है, क्या आप भी कब्ज से परेशान हैं, और कब्ज का घरेलू उपचार चाहते हैं?
आयुर्वेद में कब्ज की समस्या के लिए अनेक घरेलू उपाय बताए गए हैं। आप इन असरदार उपायों से आसानी से कब्ज का घरेलू उपचार कर सकते हैं।
कब्ज क्या है? (What is Constipation in Hindi?)
शरीर का संतुलन वात, पित्त, कफ दोषों पर निर्भर करता है। इनमें हुए असंतुलन के कारण शरीर रोगों से घिर जाता है। खान-पान एवं जीवनशैली में लापरवाही के कारण जब जठराग्नि मन्द हो जाती है, तथा आहार सही समय पर ठीक प्रकार से नहीं पचता। इससे शरीर के दोष असंतुलित तथा दूषित होकर रोग उत्पन्न करते हैं। कब्ज में मुख्यतः वात दोष की दुष्टि होती है, जिस कारण मल सूखा एवं कठोर हो जाता है। सही समय पर मलत्याग नहीं हो पाता।
कब्ज होने के कारण (Constipation Causes in Hindi)
कब्ज की बीमारी होने के कई कारण होते हैं, जो ये हैंः-
- भोजन में रेशेदार आहार की कमी होना।
- मैदे से बने एवं तले हुए मिर्च-मसालेदार भोजन का सेवन करना।
- पानी कम पीना या तरल पदार्थों का सेवन कम करना।
- समय पर भोजन ना करना।
- रात में देर से भोजन करना।
- देर रात तक जागने की आदत।
- अधिक मात्रा में चाय, कॉफी, तंबाकू या सिगरेट आदि का सेवन करना।
- भोजन पचे बिना ही दोबारा भोजन करना।
- चिन्ता या तनावयुक्त जीवन जीना।
- हार्मोन्स का असंतुलन या थायराइड की परेशानी होना।
- अधिक मात्रा में या लम्बे तक दर्द निवारक दवाइयों का इस्तेमाल करना।
कब्ज के लक्षण (Constipation Symptoms in Hindi)
कब्ज की पहचान ये हैः-
- कुंथन करने पर ही मलत्याग होना।
- पेट में दर्द एवं भारीपन रहना।
- पेट में गैस बनना।
- मल का सख्त (कठोर) एवं सूखा होना।
- सिर में दर्द रहना।
- बदहजमी
- बिना श्रम के ही आलस्य बने रहना।
- पिण्डिलियों में दर्द रहना।
- मुंह से दुर्गन्ध आना।
- कब्ज के कारण मुँह में छाले होना भी एक आम समस्या है।
- त्वचा में मुँहासे या फुंसियाँ होना।
कब्ज का घरेलू इलाज के लिए उपाय (Home Remedies for Constipation in Hindi)
आप कब्ज के लिए ये घरेलू उपचार आजमा सकते हैंः-
मुनक्के के सेवन से कब्ज का घरेलू इलाज (Raisin: Home Remedies to Treat Constipation in Hindi)
लगभग 8-10 ग्राम मुनक्के रात को पानी में भिगा दें। सुबह इसके बीज निकालकर दूध में उबाल कर खाएं, और दूध पी लें।
एरण्ड के तेल से कब्ज का घरेलू उपचार (Castor oil: Home Remedy for Constipation in Hindi)
रात में सोते समय एक गिलास गर्म दूध में 1-2 चम्मच एरण्ड का तेल डालकर पिएं। यह उपाय बहुत लाभ पहुंचाता है।
कब्ज की परेशानी में बेल से फायदा (Bael: Home Remedies for Constipation Treatment in Hindi)
बेल का फल कब्ज की समस्या के लिए बहुत फायदेमंद होता है। आधा कप बेल का गूदा, और एक चम्मच गुड़ का सेवन, शाम को भोजन से पहले से करें। बेल का शरबत भी कब्ज में फायदा करता है।
जीरा और अजवायन से कब्ज का इलाज (Jeera and Ajwain: Home Remedies to Treat Constipation in Hindi)
जीरे और अजवायन को धीमी आंच पर भून कर पीस लें। इसमें काला नमक डालकर तीनों को समान मात्रा में मिला कर डब्बे में रख लें। रोज आधा चम्मच की मात्रा में गुनगुने पानी के साथ पिएं।

कब्ज की बीमारी में मुलेठी से लाभ (Mulethi: Home Remedy for Constipation Disease in Hindi)
एक गिलास पानी में एक चम्मच मुलेठी का चूर्ण और एक चम्मच गुड़ मिलाकर सेवन करें। यह कब्ज की समस्या को ठीक करने में मदद करता है।
सौंफ का इस्तेमाल कब्ज में फायदेमंद (Saunf: Home Remedies for Constipation Problem in Hindi)
रात में सोने से पहले एक चम्मच भुनी हुई सौंफ गरम पानी के साथ पिएं। सौंफ में पाए जाने वाले उड़नशील तेल पाचन क्रिया को दुरुस्त करते हैं, तथा Gastric enzymes के उत्पादन को बढ़ाते हैं।
चने का प्रयोग कब्ज में लाभदायक (Gram: Home Remedies to Treatment Constipation in Hindi)
- कब्ज की समस्या में चना बहुत ही लाभदायक होता है। इसे भिगोकर या उबालकर खाना चाहिए। चने में जीरा या सोंठ को पीसकर डालें और सेवन करें।
- पके हुए केले को दूध के साथ खाएं।
अलसी के सेवन से कब्ज में लाभ (Alsi Benefits in Constipation in Hindi)
अलसी के बीजों को पीसकर एक चम्मच की मात्रा में रात को सोने से पहले लें। आपको इसे पानी के साथ लेना है।

त्रिफला चूर्ण से कब्ज का घरेलू उपचार (Triphala Benefits in Constipation Treatment in Hindi)
- रात को सोने से पहले त्रिफला चूर्ण को गरम पानी के साथ लें। 6 माह तक ऐसे करने से पुरानी से पुरानी कब्ज की समस्या भी ठीक हो जाती है।
- दस ग्रा. अजवायन, दस ग्रा. त्रिफला और दस ग्रा. सेंधा नमक को कूटकर चूर्ण बना लें। रोज 3-5 ग्रा. की मात्रा में चूर्ण को हल्के गरम पानी के साथ लें। पुरानी कब्ज की बीमारी भी दूर हो जाती है।
कब्ज के घरेलू इलाज के लिए अन्य घरेलू उपाय (Other Home Remedies to Cure Constipation in Hindi)
ये घरेलू उपाय भी कब्ज की परेशानी में बहुत फायदा पहुंचाते हैंः-
- रोज 2 चम्मच गुड़ गर्म दूध के साथ लें।
- दूध में सूखे अंजीर को उबाल कर खाएं, और दूध को पी लें।
- रात में सोने से पहले एक चम्मच त्रिफला चूर्ण को गर्म पानी के साथ लें।
- सुबह उठकर नींबू के रस में काला नमक मिलाकर सेवन करें।
- रात के भोजन में पपीता का सेवन करें।
- एक गिलास गर्म दूध में दो चम्मच देसी घी डालकर सोने से पहले पिएं।
- दस ग्राम इसबगोल की भूसी को सुबह-शाम पानी के साथ पिएं।

कब्ज की बीमारी में आपका खान-पान (Your Diet in Constipation)
कब्ज से राहत पाने के लिए आपका खान-पान ऐसा होना चाहिएः-
- ज्यादा से ज्यादा फल, सब्जियां, एवं रेशेदार आहार का सेवन करें, क्योंकि फाइबर युक्त आहार की कमी भी कब्ज का एक मुख्य कारण है। रोजाना के आहार में 20-30 ग्रा. में फाइबर होना आवश्यक है। यह भी जरूर ध्यान रखें कि अधिक मात्रा में फाइबर का सेवन करने से गैस तथा पेट फूलने की समस्या हो सकती है।
- फलों में अंगूर, पपीता, खुबानी, अंजीर, अनानास एवं नाशपती का अधिक सेवन करें। ये फल कब्ज की समस्या में लाभदायक हैं।
- सब्जियों में पत्तागोभी, गाजर, ब्रोकली और पालक आदि हरी पत्तेदार सब्जियों का सेवन करें।
- रोजाना कम से कम 8-10 गिलास पानी पिएं, और तरल पदार्थों का सेवन करें।
- गेहूं के आटे में पिसे हुए चने को मिलाकर खाएं।
कब्ज में परहेज (Avoid These in Constipation)
- कब्ज के रोगी को दूध तथा पनीर का अधिक सेवन नहीं करना चाहिये।
- मैदे से बनी चीजों को बिल्कुल ना खाएं।
- अधिक तैलीय एवं मिर्च-मसालेदार वाले भोजन से दूर रहें।
- कब्ज रोग में मुख्य रूप से वात को शान्त करने वाले आहार का सेवन करना चाहिये। शीतल गुण वाले आहार से बचना चाहिये।
- उष्ण गुण और अच्छे प्रकार पके हुए भोजन का सेवन करना चाहिये।
योगासन से कब्ज का इलाज (Yoga for Constipation)
आप योग की सहायता से भी कब्ज का उपचार कर सकते हैं। कब्ज में लाभ पहुंचाने वाले योग ये हैंः-
- पवन मुक्तासन
- हलासन
- अर्धमत्स्येन्द्रासन
- मयूरासन
- बालासन
- सुप्तमत्स्येन्द्रासन
FAQ
Q: ज्यादा कब्ज बनने के कारण क्या हैं?
Ans: कब्ज की बीमारी होने के कई कारण होते हैं, जो ये हैंः-
1. मैदे से बने एवं तले हुए मिर्च-मसालेदार भोजन का सेवन करना।
2. पानी कम पीना या तरल पदार्थों का सेवन कम करना।
3. समय पर भोजन ना करना।
4. रात में देर से भोजन करना।
5. अधिक मात्रा में चाय, कॉफी, तंबाकू या सिगरेट आदि का सेवन करना।
6. भोजन पचे बिना ही दोबारा भोजन करना
7. चिन्ता या तनावयुक्त जीवन जीना।
8. अधिक मात्रा में या लम्बे तक दर्द निवारक दवाइयों का इस्तेमाल करना।
Q: कब्ज के लिए 7 सेकंड की ट्रिक क्या है?
Ans: कब्ज की समस्या में चना बहुत ही लाभदायक होता है। इसे भिगोकर या उबालकर खाना चाहिए। चने में जीरा या सोंठ को पीसकर डालें और सेवन करें।
Q: रात में ऐसा क्या खाएं कि सुबह पेट साफ हो जाए?
Ans: रात में सोते समय एक गिलास गर्म दूध में 1-2 चम्मच एरण्ड का तेल डालकर पिएं। यह उपाय बहुत लाभ पहुंचाता है।
Q: कब्ज के लिए सबसे तेज पेय कौन सा है?
Ans: कब्ज के लिए सबसे तेज पेय रात में सोने से पहले एक चम्मच भुनी हुई सौंफ गरम पानी के साथ पिएं। सौंफ में पाए जाने वाले उड़नशील तेल पाचन क्रिया को दुरुस्त करते हैं, तथा Gastric enzymes के उत्पादन को बढ़ाते हैं।
Q: कौन सा भोजन कब्ज बढ़ाता है?
Ans: कब्ज के रोगी को दूध तथा पनीर का अधिक सेवन नहीं करना चाहिये। मैदे से बनी चीजों को बिल्कुल ना खाएं।
Disclaimer :प्रिय पाठकों यह आर्टिकल केवल सामान्य जानकारी और सलाह देता है. यह किसी भी तरह से चिकित्सा राय का विकल्प नहीं है. इसलिए अधिक जानकारी के लिए हमेशा किसी विशेषज्ञ या अपने चिकित्सक से परामर्श जरूर करें. krushnali.com इस जानकारी के लिए जिम्मेदारी का दावा नहीं करता है.